दमोह: भाजपा विधायक की जन्मदिन पार्टी में विवाद व चलीं गोलियां, दो की मौत


– राष्ट्रपति के दौरे से पहले दोहरी हत्या, विधायक प्रतिनिधि सहित दो की हत्या, अतिथि शिक्षक को मारी गोली।


डॉ. संतोष पाटीदार डॉ. संतोष पाटीदार
दमोह Published On :
damoh mla birthday party
जन्मदिन की पार्टी में घटना से पहले की तस्वीर, साभारः नईदुनिया


दमोह। मध्यप्रदेश के दमोह में भाजपा विधायक धर्मेंद्र सिंह लोधी की जन्मदिन पार्टी में विवाद हुआ और यह विवाद इतना बढ़ गय़ा कि घटना में दो लोगों की हत्या कर दी गई।

इसी पार्टी में हुए खूनी संघर्ष में उनके प्रतिनिधि अरविंद जैन की बेरहमी से हत्या कर दी गई। वहीं, जैन के पक्ष के लोगों ने दूसरे पक्ष के अतिथि शिक्षक के सिर पर गोली मार दी जिसकी भी अस्पताल पहुंचने से पहले मौत हो गई।

दमोह में राष्ट्रपति के दौरे से पहले हुई वारदात के बाद पूरे जिले में सनीसनी फैल गई है। बताया जा रहा है कि शुक्रवार को जबेरा से भाजपा विधायक धर्मेंद्र सिंह लोधी का जन्मदिन था जिसके जश्न के लिए उनके समर्थकों ने शहर से लगे बनवार स्थित खेरमाई मंदिर प्रांगण में पार्टी आयोजित की थी।

इसी दौरान खूनी संघर्ष की स्थिति निर्मित हो गई। पार्टी में विवाद होने के चलते कुछ लोगों ने विधायक प्रतिनिधि अरविंद जैन पर हमला कर दिया। उन्हें लाठियों से पीटा गया और पत्थर पटककर गंभीर रूप से घायल कर दिया गया।

इससे आक्रोशित अरविंद जैन के करीबियों ने दूसरे पक्ष को घेर लिया। अतिथि शिक्षक जोगेंद्र सिंह पर गोली चला दी। गोली उनके सिर में लगी। अस्पताल ले जाते समय जोगेंद्र की मौत हो गई।

घटना के वक्त पड़ोस में थे विधायक –
बताया गया है कि जबेरा विधायक धर्मेंद्र सिंह इस पार्टी में काफी समय मौजूद रहे। घटना से 20 मिनट पहले ही पड़ोस के कार्यक्रम में जाने का कहकर निकले थे कि इसी दौरान विवाद हो गया। वे जब तक लौटकर आए तो दो लाशें बिछ चुकी थी। इस घटना से इलाके में भारी तनाव है।

पहले से थी रंजिश –
घटना में मारे गए दोनों पक्षों में पहले से रंजिश चली आ रही थी। बताया गया है कि अरविंद जैन और जोगेंद्र सिंह के परिवार के बीच पहले भी झगड़ा हो चुका था। उसी ने आज खूनी संघर्ष का रूप ले लिया।

जोगेंद्र सिंह को अस्पताल लेकर उनके पिता गोविंद सिंह ने राहुल जैन और रिंकू जैन द्वारा उनके बेटे पर गोली चलाए जाने का आरोप लगाया है। वहीं, अरविंद जैन को मृत हालत में अस्पताल लेकर उनकी मामी पहुंची थीं जिनको घटना के बारे में कुछ नहीं पता था।

सीएसपी अभिषेक तिवारी घटनास्थल पर सदल बल गए थे, लेकिन अस्पताल में तनाव की आशंका को देखते हुए पुलिस बल के साथ पहुंच गए।



Related