2021 में 1 करोड़ से ज़्यादा मौतें: क्या कोविड ने असली आंकड़ों से कहीं ज़्यादा कहर बरपाया?


2021 में भारत में दर्ज मौतें 1.02 करोड़ पार, 26% की वृद्धि। कोविड-19 से सिर्फ 4.13 लाख मौतें दर्ज, आंकड़ों पर उठे सवाल।


DeshGaon
बड़ी बात Updated On :

भारत सरकार के रजिस्ट्रार जनरल (Registrar General of India) द्वारा हाल ही में जारी की गई दो अहम रिपोर्टों के अनुसार, वर्ष 2021 में देश में रिकॉर्ड 1.02 करोड़ मौतें दर्ज की गईं। यह आंकड़ा 2020 की तुलना में लगभग 21 लाख अधिक है, जो बताता है कि महामारी का दूसरा साल भारत के लिए कितना घातक रहा। ‘वाइटल स्टैटिस्टिक्स ऑफ इंडिया बेस्ट ऑन सिविल रजिस्ट्रेशन सिस्टम’ (Vital Statistics of India based on the Civil Registration System) रिपोर्ट के मुताबिक, मौतों में यह 26% की वृद्धि है।

मौतों में बड़ा उछाल, लेकिन कोविड की गिनती कम

साल 2020 में जहां कुल 81.2 लाख मौतें दर्ज की गई थीं, वहीं 2021 में यह आंकड़ा बढ़कर 1.02 करोड़ पहुंच गया। यह उछाल ऐसे समय में हुआ जब देश कोविड-19 की दूसरी लहर की मार झेल रहा था। हालांकि, मेडिकल सर्टिफिकेशन ऑफ कॉज ऑफ डेथ (MCCD) रिपोर्ट के अनुसार, 2021 में कोविड-19 से हुई मौतों की संख्या सिर्फ 4.13 लाख दर्ज की गई है। यह संख्या स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा रिपोर्ट की गई 3.3 लाख कोविड मौतों से तो अधिक है, लेकिन मौतों में कुल बढ़ोतरी के अनुपात में काफी कम है।

विशेषज्ञों का मानना है कि यह अंतर सरकार द्वारा कोविड मौतों की गिनती में गंभीर कमियों की ओर इशारा करता है। रिपोर्टिंग में अंतर राज्यों के बीच भी स्पष्ट है। उदाहरण के तौर पर, गुजरात में 2021 में कुल मौतें 7.2 लाख दर्ज की गईं, जबकि 2019 में यह आंकड़ा 4.6 लाख के आसपास था। कोविड से केवल 5,812 मौतें ही दर्ज की गईं, जिससे साफ होता है कि वास्तविक संख्या इससे कहीं अधिक हो सकती है।

राज्यों में व्यापक असमानता

उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र और तमिलनाडु जैसे राज्यों में भी ऐसी ही प्रवृत्ति देखी गई, जहां कुल मौतें पहले की तुलना में काफी अधिक दर्ज की गईं, लेकिन कोविड से जुड़ी मौतों की आधिकारिक संख्या अपेक्षाकृत कम रही। इन आंकड़ों ने केंद्र और राज्य सरकारों की पारदर्शिता पर सवाल खड़े किए हैं।

जन्म दर में मामूली गिरावट

कोविड के प्रभाव सिर्फ मौतों तक सीमित नहीं रहे। रिपोर्ट के अनुसार, 2021 में भारत में जन्म दर में भी 0.1% की गिरावट आई। 2020 में कुल 242.2 लाख जन्म दर्ज किए गए थे, जबकि 2021 में यह आंकड़ा घटकर 242 लाख हो गया। यह गिरावट स्वास्थ्य सेवाओं की उपलब्धता में कमी और महामारी के दौरान बदले सामाजिक-आर्थिक माहौल का संकेत देती है।

क्या कहते हैं आंकड़े?

  • कुल दर्ज मौतें (2021): 1.02 करोड़
  • कुल दर्ज मौतें (2020): 81.2 लाख
  • वृद्धि प्रतिशत: 26%
  • कोविड-19 दर्ज मौतें (2021): 4.13 लाख
  • अनुमानित अतिरिक्त मौतें: लगभग 21 लाख

भारत में 2021 के दौरान दर्ज हुई मौतों में असामान्य वृद्धि और कोविड से जुड़ी मौतों की कम रिपोर्टिंग यह संकेत देती है कि महामारी का प्रभाव सरकारी आंकड़ों में पूरी तरह परिलक्षित नहीं हो सका। यह जरूरी है कि सरकार स्वास्थ्य डेटा संग्रह की पारदर्शिता और क्षमता में सुधार लाए, ताकि भविष्य में नीतिगत फैसले वास्तविकता पर आधारित हों। यह रिपोर्ट स्वास्थ्य प्रणाली की मजबूती, महामारी प्रबंधन और नागरिक डेटा संग्रह के महत्व को दोहराती है।

 


Related





Exit mobile version