बकरी पालन व्यवसाय में ज्यादा रूचि लेने लगे हैं किसान, ले रहे हैं प्रशिक्षण

राष्टीय पशुधन मिशन योजना के तहत केंद्रीय योजना में इन दिनों मुर्गी, बकरी और सुअर पालन पर ज्यादा जोर दिया जा रहा है।

goat cattle

महू। केंद्र सरकार द्वारा आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में पशुपालन को एक उद्योग के रूप में स्थापित करने के लिए नई-नई योजना शुरू की गई है जिसमें सबसे ज्यादा रूचि बकरी पालन में दिख रही है।

इसके लिए केंद्र सरकार द्वारा 87 लाख रुपये के लोन पर 50 लाख रुपये का अनुदान भी दिया जा रहा है। बकरी पालन की तुलना में अन्य पशुओं के पालन में रूचि कम है।

स्वालंबन की दिशा में केंद्र सरकार द्वारा अनेक योजनाएं शुरू की गईं जिसके लिए लगातार प्रयास किए जा रहे हैं कि आम नागरिक स्वयं का व्यवसाय शुरू कर आत्मनिर्भर बन सकें।

राष्टीय पशुधन मिशन योजना के तहत केंद्रीय योजना में इन दिनों मुर्गी, बकरी और सुअर पालन पर ज्यादा जोर दिया जा रहा है।

इसके पालन के लिए पशुपालकों के लिए पशुपालन एवं पशु चिकित्सा महाविद्यालय में इसमें रूचि रखने वालों को बाकायदा निःशुल्क प्रशिक्षण भी दिया जा रहा है जिसमें इस व्यवसाय को कैसे करने तथा इसके क्या-क्या लाभ है, की जानकारी देने के साथ-साथ केंद्र सरकार द्वारा दी जाने वाली अनुदान राशि के बारे में भी बताया जा रहा है।

जानकारी के अनुसार केंद्र सरकार द्वारा मुर्गी पालन में पैंतीस लाख रुपये का लोन दिया जाएगा जिसमें 25 लाख रुपये का अनुदान बकरी पालन में 87 लाख रुपये का लोन दिया जाएगा जिसमें 50 लाख रुपये का अनुदान मिलेगा।

वहीं, सुअर पालन में 50 लाख रुपये का लोन जिसमें 30 लाख रुपये का अनुदान दिया जाएगा। बशर्तें इसके लिए शासन के नियमों का पालन जिसमें शैक्षणिक योग्यता, जमीन, प्रशिक्षण आदि आवश्यक है।

प्रशिक्षण प्रभारी डॉ. संदीप नानावटी ने बताया कि मुगी, बकरी और सुअर पालन के लिए अब तक करीब 850 पशुपालकों ने प्रशिक्षण लिया।

इसमें पांच सौ से ज्यादा पशुपालकों ने बकरी पालन में रूचि दिखाई क्योंकि बकरी पालन सबसे ज्यादा लाभ का व्यवसाय है।

बकरी की देख-रेख, आहार, बीमारी आदि पर ज्यादा खर्च नहीं करना पड़ता तथा इसे बेचने पर अच्छी कीमत मिलती है।

अन्य पशुओं की तुलना में बकरी में संक्रमण कम या काफी देरी से फैलता है जिस कारण समय रहते उसका उपचार करवाया जा सकता है।

पशुपालन व पशु चिकित्सा महाविद्यालय की अधिष्ठाता आरके जैन ने बताया कि यह योजना नाबार्ड के माध्यम से संचालित की जा रही है।

हम पशुपालकों में जागरूकता के साथ-साथ आत्मनिर्भर बनने के लिए पशुपालन को एक लाभ का व्यवसाय बनाने के लिए प्रेरित कर रहे है जिसके प्राथमिक चरण में हमें सफलता मिल रही है।

First Published on: May 10, 2022 2:32 PM