
जिला प्रशासन ने लोक सेवा केंद्र संचालन में उदासीनता दिखाने पर सख्त रुख अपनाते हुए फर्म बद्री सेल्स, ग्वालियर पर ₹14,845 का जुर्माना लगाया है। यह दंड जिला कलेक्टर एवं सचिव जिला ई-गवर्नेंस सोसायटी श्री प्रियंक मिश्रा द्वारा लगाया गया। आरोप है कि धार जिले में लोक सेवा केंद्र का संचालन करने वाली यह फर्म अनुबंध और शासन द्वारा निर्धारित आरएफपी (रिपॉजिटरी फॉर प्रपोजल) के प्रावधानों का पालन करने में लगातार लापरवाह रही है।
लोक सेवा प्रबंधन की ओर से प्राप्त निरीक्षण रिपोर्ट में यह स्पष्ट हुआ कि धार का लोक सेवा केंद्र कई अनियमितताओं से ग्रस्त है। इस संबंध में संचालक को पूर्व में भी कई बार चेतावनी पत्र दिए जा चुके हैं। बावजूद इसके स्थिति में कोई सुधार नहीं देखा गया। परिणामस्वरूप, बद्री सेल्स पर यह जुर्माना अनुबंध के Annexure VI के बिंदु क्रमांक 5(B)(L) के अंतर्गत लगाया गया है।
प्रशासन ने यह भी स्पष्ट किया है कि दिसंबर 2024 की वीजीएफ (वायबिलिटी गैप फंडिंग) राशि में से ही यह जुर्माना काटा जाएगा। यह कदम लोक सेवा केंद्रों की गुणवत्ता और सेवा मानकों को सुनिश्चित करने की दिशा में उठाया गया है।
प्रशासन ने जताई नाराजगी, अगली बार सख्त कार्रवाई की चेतावनी
पूर्व में जारी कारण बताओ नोटिस और चेतावनियों के बावजूद सुधार न होने से जिला प्रशासन ने संचालक की कार्यशैली पर सवाल उठाए हैं। कलेक्टर ने यह भी निर्देश दिए हैं कि भविष्य में किसी भी प्रकार की लापरवाही न हो, इसके लिए फर्म को स्पष्ट रणनीति अपनानी होगी। प्रशासन ने दोहराया कि लोक सेवा केंद्र संचालन एक संवेदनशील जिम्मेदारी है, और इसमें लापरवाही आम जनता की सेवाओं पर सीधा प्रभाव डालती है।
इस कार्रवाई से यह संदेश साफ है कि शासन की योजनाओं और जनसेवा केंद्रों के संचालन में कोई भी उदासीनता बर्दाश्त नहीं की जाएगी। अब देखना होगा कि बद्री सेल्स इस चेतावनी को कितना गंभीरता से लेती है और भविष्य में अपनी सेवाओं में क्या सुधार करती है।