फारुख अब्दुल्ला के खिलाफ PIL खारिज, SC ने कहा- सरकार की राय से अलग विचार रखना राजद्रोह नहीं


सुप्रीम कोर्ट ने जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री व नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता फारुख अब्दुल्ला के खिलाफ दायर जनहित याचिका खारिज कर दिया, जो जम्मू-कश्मीर से धारा 370 हटाने के खिलाफ अब्दुल्ला के बयानों को लेकर दायर की गई थी।


Manish Kumar Manish Kumar
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नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री व नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता फारुख अब्दुल्ला के खिलाफ दायर जनहित याचिका खारिज कर दिया, जो जम्मू-कश्मीर से धारा 370 हटाने के खिलाफ अब्दुल्ला के बयानों को लेकर दायर की गई थी।

सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस किशन कौल व हेमंत गुप्ता की खंडपीठ ने पीआईएल खारिज करते हुए कहा कि सरकार की राय से अलग विचारों को राजद्रोह नहीं कहा जा सकता।

कोर्ट ने इसके साथ ही दोनों याचिकाकर्ताओं रजत शर्मा व नेह श्रीवास्तव के खिलाफ 50 हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया है।

बता दें कि रजत शर्मा व नेह श्रीवास्तव नामक दो याचिकाकर्ताओं ने अपनी याचिका में कहा था कि फारुख अब्दुल्ला ने देश के खिलाफ बयान दिया है, इसलिए उनकी संसद सदस्यता रद्द की जाए। अगर उनकी सदस्यता जारी रहेगी तो यह संदेश जाएगा कि भारत में देश-विरोधी गतिविधियों को इजाजत दी जाती है और यह देश की एकता के खिलाफ होगा।

याचिकाकर्ताओं ने इसके साथ यह भी दावा किया था कि फारुख अब्दुल्ला ने धारा 370 हटाने के खिलाफ चीन और पाकिस्तान से मदद मांगने की बात कही थी।

कुछ मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया गया था कि फारुख अब्दुल्ला ने एक टीवी इंटरव्यू में कहा था कि चीन की मदद से कश्मीर में धारा 370 फिर से लागू की जाएगी। हालांकि उनकी पार्टी नेशनल कॉन्फ्रेंस ने इस दावे को पूरी तरह से खारिज कर दिया था।



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