किन्नौर-हरिद्वार हाइवे पर चट्टानों की चपेट में आईं 6 गाड़ियां, 10 की मौत व 50 से ज्यादा मलबे में दबे


विभिन्न मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, 50 से ज्यादा यात्री मलबे में फंस गए और अंतिम जानकारी मिलने तक 14 लोगों को सुरक्षित बाहर निकाला गया है जबकि अब तक 10 शव भी मलबे से बाहर निकाले गए हैं।


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किन्नौर। हिमाचल प्रदेश के किन्नौर में शिमला-किन्नौर नेशनल हाइवे संख्या 5 पर ज्यूरी रोड के निगोसारी और चौरा के बीच अचानक हुए लैंड स्लाइड से चट्टानें एक बस, एक ट्रक, बोलेरो और 3 टैक्सियों पर जा गिरीं।

विभिन्न मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, 50 से ज्यादा यात्री मलबे में फंस गए और अंतिम जानकारी मिलने तक 14 लोगों को सुरक्षित बाहर निकाला गया है जबकि अब तक 10 शव भी मलबे से बाहर निकाले गए हैं।

स्थानीय प्रशासन, पुलिस, एनडीआरएफ, आईटीबीपी व सेना की टीमें बचाव व राहत कार्य में जुटी हुई हैं। मलबे में फंसी बस हिमाचल रोडवेज की है, जो मूरंग से हरिद्वार जा रही थी।

हिमाचल सरकार ने राहत व बचाव कार्य में तेजी लाने के लिए उत्तराखंड और हरियाणा सरकार से हेलिकॉप्टर मांगे हैं। सेना ने भी अपने दो हेलिकॉप्टर भेजे हैं।

हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने भी हादसे की जानकारी ली है और राहत तथा बचाव कार्य के लिए निर्देश दिए हैं। बताया जा रहा है कि मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर भी घटनास्थल पर पहुंचकर रेस्क्यू ऑपरेशन का जायजा ले सकते हैं।

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने घटना पर दुख जताया है और हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री से फोन पर बात की। साथ ही उन्होंने हरसंभव मदद का आश्वासन दिया है। केन्द्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने भी घटना पर दुख जताया है।

बता दें कि 25 जुलाई को किन्नौर में भूस्खलन के बाद पहाड़ी से चट्‌टानें इतनी तेजी से नीचे गिरीं थीं कि बस्पा नदी का पुल टूट गया था। इस हादसे में नौ पर्यटकों की मौत हो गई थी।

मरने वालों में चार राजस्थान के, दो छत्तीसगढ़ के और एक-एक महाराष्ट्र और दिल्ली के थे। पर्यटक ट्रैवलर गाड़ी में छितकुल से सांगला की ओर जा रहे थे, तभी बटसेरी के गुंसा के पास पुल पर चट्‌टानें गिरने से पुल टूट गया और पर्यटकों की गाड़ी भी चपेट में आ गई थी।



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