किसान नेता बृजमोहन कौरव के जिला बदर मामले में थाने से हटा दिए गए गाडरवारा टीआई और एसआई 


किसान नेता कौरव पर मध्यप्रदेश राज्य सुरक्षा अधिनियम की धारा 14 के तहत कार्रवाई की गई थी।


ब्रजेश शर्मा ब्रजेश शर्मा
नरसिंहपुर Published On :

नेताओं के इशारों पर अधिकारी मनमाने तरीके से कार्यवाही कर तो देते हैं लेकिन कई बार वह कार्रवाई उनके लिए गले की फांस बन जाती हैं । गाडरवारा में किसान नेता बृजमोहन कौरव के जिलाबदर के मामले में हाई कोर्ट के द्वारा कलेक्टर, एसपी को तलब करने और उन्हें फटकार दिए जाने के बाद पुलिस कप्तान ने गाडरवारा थाना प्रभारी और एक उप निरीक्षक को थाने से हटा दिया है। इस मामले में अब तक चार पुलिस अधिकारयों पर कार्रवाई की गाज गिर चुकी है।

शनिवार को गाडरवारा थाना प्रभारी विक्रम रजक को थाने से हटा दिया गया। उनके स्थान पर डोंगरगांव थाना प्रभारी उमेश तिवारी को पदस्थ किया गया है। इसके अलावा सब इंस्पेक्टर अर्जुन बघेल को भी वहां से अलग कर दिया गया। इसके पूर्व एक एएसआई तथा एक हवलदार पर भी कार्रवाई की जा चुकी है।

उल्लेखनीय है कि किसान नेता बिरजू कौरव द्वारा जिला बदर के मामले की अपील हाईकोर्ट में की गई थी जिसकी गत दिनों हुई सुनवाई और तलब किए गए आला अधिकारियों के बाद उक्त कार्यवाही की गई है।

बिरजू कौरव को मिली जमानत

करीब 6 महीने पहले किसान नेता बृजमोहन कौरव उर्फ बिरजू कौरव का जिला बदर तत्कालीन कलेक्टर के द्वारा किया गया था । इस मामले में बृजमोहन कौरव ने उच्च न्यायालय में याचिका दायर की थी जिसके बाद अफसर तलब हुए उन्हें फटकार भी मिली और सवाल भी किया गया कि अफसर विवेकाधिकार का प्रयोग नहीं करते।

किसान नेता कौरव पर मध्यप्रदेश राज्य सुरक्षा अधिनियम की धारा 14 के तहत कार्रवाई की गई थी। जिन्हे ओंकारेश्वर से गाडरवारा लाया गया और न्यायालय में पेश किया जहां से उन्हें धारा वह 14 के तहत जमानत मिल गई। परंतु पुलिस द्वारा उन्हें फिर ओंकारेश्वर भेजा जा रहा है।



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