क्रिप्टो करेंसी पर तीस प्रतिशत टैक्स, आय कर में कोई राहत नहीं, किसान भी निराश


सादा पेट्रोल होगा महंगा, किसानों को जरुरत थी सस्ती बिजली और खाद की लेकिन वह भी नहीं मिली


DeshGaon
बड़ी बात Updated On :

भोपाल। केंद्र की मोदी सरकार ने अपने दूसरे कार्यकाल का चौथा बजट मंगलवार को पेश किया। राज्यों में चुनावों से पहले आ रहे इस बजट से लोगों को खासी उम्मीदें थीं लेकिन ये उम्मीदें पूरी नहीं हुईं। वित्ती मंत्री निर्मला सीतारमण ने लोगों को टैक्स में कोई राहत नहीं दी है। इसके अलावा किसानों और कारोबारियों को भी राहत नहीं है। टैक्स स्लैब को लेकर लोगों को उम्मीद थी कि इस बार सरकार कुछ छूट ज़रूर देगी लेकिन बजट भाषण में इसकी चर्चा नहीं हुई। जिससे लोगों को खासी निराशा हुई।

हालांकि सरकार ने डिजिटल करेंसी और डिजिटल बैंकिंग को लेकर काफी कुछ कहा गया है। इसमें क्रिप्टो करेंसी से होने वाली कमाई पर तीस प्रतिशत तक टैक्स शामिल है। यह टैक्स ज्यादा तो है लेकिन इस तरह सरकार ने क्रिप्टो को एक तरह से आधिकारिक मान्यता दे दी है। वहीं सरकार ने कहा है कि 2022-23 में सरकार अपनी ब्लॉक चैन पर डिजिटल मुद्रा भी लेकर आ रही है।

किसानों की बात करें तो वे सस्ती बिजली और खाद पर सब्सिडी की मांग कर रहे थे लेकिन किसानों को लाभ पहुंचाने वाले इन मुद्दों पर बजट में कुछ नहीं था। इसके अलावा घरेलू खर्च कम करने को लेकर भी सरकार की ओर से कोई राहत नहीं दी गई है।

लोगों को उम्मीद थी कि बढ़ती महंगाई को लेकर केंद्र सरकार कुछ उपाय करेगी लेकिन ऐसा भी नहीं हुआ। देश में महंगाई का सबसे बड़ा कारण ईंधन के बढ़ते दाम रहे हैं लेकिन इन्हें कम करने की बजाए बढ़ाने की तैयारी है। वित्त मंत्री ने अनब्लेंडेड पेट्रोल यानी सादे और बिना एथेनॉल वाले पेट्रोल पर दो रुपये प्रति लीटर की अतिरिक्त एक्साइज ड्यूटी लगाई है। यह ड्यूटी रिफाइनरी कंपनी पर लगाई जा रही है लेकिन साफ है कि कंपनी ये बढ़ा हुआ खर्च अपने ग्राहकों से ही वसूलेंगी। यह नया फैसला 1 अक्टूबर 2022 के बाद लागू होगा।

 



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