कमलनाथ का सीएम शिवराज पर तंज़, “जिन्होंने बरसों कुछ नहीं किया, वे अब कल परसों करते हैं”


सीएम शिवराज ने लाडली बहना योजना में महिलाओं को दी जाने वाली राशि धीरे-धीरे बढ़ाकर तीन हजार रुपये करने की बात कही है।


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राजनीति Published On :

मप्र में चुनाव नजदीक हैं और इस बार मुकाबला कड़ा है। भाजपा सत्ता में आने के बाद साल 2018 के विधानसभा चुनावों से पहले तक प्रदेश में कांग्रेस पर भारी ही रहेगी लेकिन अब समीकरण बदल रहे हैं। चुनाव नजदीक हैं और मुकाबला कैसा है ये नेताओं के बयानों से समझा जा सकता है। इनके बयानों में तल्ख़ी आ रही है। पिछले दिनों सीएम शिवराज सिंह चौहान ने कमलनाथ के प्रति एक सार्वजनिक सभा में अभद्र संबोधन किया। हालांकि इसके बाद कमलनाथ ने सीएम शिवराज के वादों पर सवाल उठाए हैं। उन्होंने शिवराज सरकार द्वारा लाडली बहना योजना में महिलाओं के लिए भविष्य में तीन हजार रुपए देने की घोषणा पर भी सवाल उठाए हैं।

लाडली बहना योजना पर सीएम शिवराज के वादों पर कांग्रेस के प्रदेश प्रमुख कमलनाथ ने ट्वीट किया और कहा कि वर्तमान से मुंह मोड़ना और कभी भूतकाल तो कभी भविष्य काल में जीना शिवराज सरकार का अमृतकाल बन गया है। शिवराज जी अरबों रुपया प्रचार पर लुटा कर बहनों से कह रहे हैं कि वे उन्हें ₹3000 महीना देंगे। जिस सरकार की आयु 3 महीने भी नहीं बची है, वह सरकार 3000 की बात कर रही है। जिनकी देने की नियत होती है, वह ना तो मोल भाव करते हैं और ना कल-परसों पर बात टालते हैं। जिन्होंने बरसों से कुछ नहीं किया, वही कल और परसों करते हैं।’

कमलनाथ ने अपने ट्वीट में आगे लिखा, ‘बहनो, इन जुमलों के सौदागरों से जो मिल जाए, वह अपने पास रखिए और निश्चिंत रहिए कांग्रेसी सरकार आपको नारी सम्मान देगी। नकद ₹1500 मिलेंगे, ₹500 में गैस सिलेंडर मिलेगा, 100 यूनिट तक बिजली मुफ्त मिलेगी, 200 यूनिट तक बिजली का बिल हाफ आएगा। बच्चों को रोजगार मिलेगा, खेतों को बिजली मुफ्त मिलेगी। कांग्रेस जुमलों की खेती नहीं, गारंटी का भरोसा देती है।’

कमलनाथ का यह बयान सीएम शिवराज के द्वारा लाडली बहना योजना में महिलाओं की आय एक हजार रुपए से धीरे-धीरे बढ़ाकर तीन हजार रुपए करने पर था। वहीं कमलनाथ ने महिलाओं को पंद्रह सौ रुपये प्रति माह देने की घोषणा की है। इसके अलावा वे पांच सौ रु में गैस सिलेंडर और सौ यूनिट तक बिजली बिल माफ और दो यूनिट तक आधा करने का वादा किया है। देखा जाए तो कांग्रेस की घोषणा भी कहीं से भी कमजोर नहीं है।

 



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