चुनावी मूड में प्रधानमंत्री ने दिया लोकसभा चुनाव से पहले अपना अंतिम स्वतंत्रता दिवस भाषण


मोदी ने साल 2047 में भारत को विकसित राष्ट्र बनाने की बात कही, उन्होंने कहा कि अगले साल वे इसी जगह से फिर देश की उपलब्धियों को पूरे आत्मविश्वास से बताएंगे।


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बड़ी बात Updated On :

भारत अपना स्वतंत्रता दिवस मना रहा है। आज़ादी के इस 77 वें साल में देश खुशी का माहौल है। परंपरा के मुताबिक पूर्व संध्या पर राष्ट्रपति के अभिभाषण के बाद 15 अगस्त की सुबह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लाल किले की प्राचीर पर तिरंगा फहराया। इस दौरान उन्होंने अपने भाषण में अपनी सरकार की उपलब्धियों के बारे में देश दुनिया को बताया और कई तरह से विरोधियों पर राजनीतिक हमले भी किए। इस दौरान रह-रहकर पीएम के सर्मथकों के द्वारा मोदी-मोदी का शोर भी सुनाई देता रहा।

प्रधान मंत्री के शीर्ष पद संभालने के बाद से यह मोदी का लगातार 10वां स्वतंत्रता दिवस भाषण रहा, और 2024 के लोकसभा चुनावों से पहले उनका आखिरी संबोधन है। पीएम मोदी ने कहा कि वह लाल किले से अपनी सरकार के 10 साल का लेखा-जोखा दे रहे हैं, “यह ‘मोदी की गारंटी’ है कि भारत अगले 5 वर्षों में तीसरी सबसे बड़ी वैश्विक अर्थव्यवस्था बन जाएगा। मोदी ने आजादी के स्वर्णिम साल 2047 का लक्ष्य सामने रखते हुए एक तरह से उन्हें फिर से मौका देने की  बात कही।

प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को 77वें स्वतंत्रता दिवस पर राष्ट्र को शुभकामनाएं दीं और कहा कि महामारी के बाद एक नई विश्व व्यवस्था पर काम चल रहा है, जैसा कि द्वितीय विश्व युद्ध के अंत में हुआ था। उन्होंने कहा कि भारत अब ‘विश्वामित्र’ के रूप में पहचाना जाता है और उन्होंने रुपये के शुरुआती खर्च के साथ नाइयों और सुनारों के लिए विश्वकर्मा योजना शुरू करने की भी घोषणा की। पीएम ने कहा कि यह योजना 13,000 से 15,000 करोड़ रुपए की होगी।

मणिपुर संकट का जिक्र करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि पूर्वोत्तर राज्य में समाधान का रास्ता शांति से निकलेगा। पीएम मोदी ने यह भी कहा कि उनकी सरकार ने अपनी ‘वाइब्रेंट विलेजेज’ योजना के जरिए सीमावर्ती गांवों के बारे में सोच बदल दी है। उन्होंने कहा, “सीमा पर स्थित गांव भारत का आखिरी गांव नहीं है, जैसा कि पहले कहा गया था, यह देश का पहला गांव है और इसीलिए इन पहले गांवों के छह सौ प्रधानों को आज इस कार्यक्रम के विशेष अतिथि के रुप में बुलाया गया है।”

पीएम ने कहा कि ‘हम सभी लक्ष्य समय सीमा से पहले पूरा करेंगे, चाहे शौचालय बनाना हो या जनधन खाते खोलना हो’ उन्होंने कहा कि दुनिया कोविड से उबर नहीं पाई, लेकिन भारत ने महंगाई पर सफलतापूर्वक काबू पा लिया।  अपने स्वतंत्रता दिवस के भाषण के दौरान, प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि दुनिया अभी तक कोविड-19 महामारी से उबर नहीं पाई है, और जब हम वस्तुओं का आयात करते हैं, तो हम मुद्रास्फीति भी आयात करते हैं।

महंगाई के बारे में बात करते हुए मोदी ने कहा कि भारत में मुद्रास्फीति की स्थिति अन्य देशों की तुलना में काफी बेहतर है। उन्होंने कहा, ”हम मुद्रास्फीति को सफलतापूर्वक नियंत्रित करने में सफल रहे हैं। पीएम मोदी ने कहा, ‘जब देश में गरीबी कम होती है तो मध्यम वर्ग की ताकत काफी बढ़ जाती है।’

उन्होंने कहा, ‘मैं वादा करता हूं कि अगले 5 साल में भारत विश्व की शीर्ष 3 अर्थव्यवस्थाओं में होगा।’  मोदी यहां सीधे तौर पर बार बार ये जताते दिखे कि वे पांच सालों के लिए फिर चुने जाने वाले हैं, देश की जनता ने उन्हें दोबारा मौका देने का मन बना लिया है। उन्होंने कहा कि 2047 आजादी का स्वर्णिम साल होगा तब तक भारत विकसित देश होगा। उन्होंने जताया कि इस लक्ष्य तक पहुंचने के लिए स्थिर सरकार जरुरी है जो किसी भी तरह राजनीतिक बंदिशों और तुष्टिकरण की राजनीति से  मुक्त हो।

मोदी ने यहां अपने विपक्षी दलों पर राजनीतिक हमला बोला। उन्होंने परिवारवाद पर निशाना साधकर एक तरह से कांग्रेस और दूसरे क्षेत्रीय दलों पर हमला किया। मोदी ने इसके अलावा भ्रष्टाचार पर कार्रवाई करने की भी बात कही।

पीएम मोदी ने अपने भाषण के अंत में एक कविता भी कही। उनकी यह कविता देश और आने वाले समय के प्रति उनके दृष्टिकोण पर थी।

“चलता-चलता काल चक्र

अमृत काल का हल चक्र
सबके सपने, अपने सपने
पलकों पे सपने सारे
धीर चलें, वीर चलें
चलें युवा हमारे
नीति सही
रीति नई
गति सही
रे नहीं
चुनो चुनौतियां सीना तां
जग मा बढ़ाओ देश का नाम”



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